पुस्तक समीक्षा-कला से कविता तक की एक शानदार यात्रा है अभिनेत्री कुसुम चौहान के कविता संग्रह ‘दिल के कोने मे’

राजू बोहरा / विशेष संवाददाता, नेशनल समाचार,

नई दिल्ली, गढ़वाली और हिन्दी रंगमंच और फिल्मों की जानीमानी कलाकार कुसुम चौहान एक संवेदनशील कवयित्री भी है और समय-समय पर कई मंचो पर अपना कविता पाठ करके अपनी काव्य प्रतिभा का परिचय भी दे चुकी है ।साथ ही सोशल मीडिया पर भी उनकी कविताओं को काफी सराहा गया है।
कुसुम चौहान के प्रथम कविता संग्रह “दिल के कोने में” का हाल ही में लोकार्पण पूर्व केंद्रीय शिक्षामंत्री तथा जानेमाने राजनेता और साहित्यकार डॉ.रमेश पोखरियाल’निशंक’ द्वारा उनके निवास स्थान पर आयोजित एक भव्य साहित्यिक कार्किया गया।
कुसुम चौहान के इस प्रथम कविता संग्रह को पाठकों की बहुत अच्छी प्रतिक्रिया और सराहना मिल रही है क्योंकि इसके इस काव्य संग्रह में सभी कविताएं दिल को छू लेने वाली है।

कुसुम चौहान के इस कविता संग्रह में सौ से अधिक छोटी-बड़ी कविताएं है हर कविता अपने आप में परिपूर्ण है। कुसुम चौहान कम से कम शब्दों में बहुत बड़ी बात कहने की कला में निपुण है यह उनकी छोटी-छोटी तीन चार पंक्तियों की कविताओं से ही स्पष्ट हो जाता है। स्याही ब्लू बुक्स से प्रकाशित अभिनेत्री का यह काव्य संग्रह ऐमेज़ॉन पर उपलब्ध है जिसका मूल्य तीन सौ रुपये है।
समीक्षक, रमेश चन्द्र घिल्डियाल जी

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